बदले जाएंगे सभी पुराने सिम कार्ड, सरकार कर रही बड़ी तैयारी!Old SIM card



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New sim card

अगर आपके पास भी पुराना सिम कार्ड है तो ये खबर आपके लिए है – सरकार उठाने जा रही है बड़ा कदम!

अगर आप भी पुराने सिम कार्ड का इस्तेमाल कर रहे हैं तो आपके लिए एक बड़ी खबर है।

जल्द ही आपको अपना पुराना सिम कार्ड बदलना पड़ सकता है। ऐसा इसलिए क्योंकि भारत सरकार अब पुराने सिम कार्ड्स को रिप्लेस करने की तैयारी कर रही है।



क्यों बदले जाएंगे पुराने सिम कार्ड? old SIM card changing



भारत सरकार की ओर से यह कदम देश की साइबर सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए उठाया जा रहा है।

हाल ही में नेशनल साइबर सिक्योरिटी कोऑर्डिनेटर (NCSC) और गृह मंत्रालय की एक संयुक्त जांच में यह पाया गया कि कुछ सिम कार्ड्स में इस्तेमाल होने वाले चिपसेट्स चीन से आयात किए गए थे।

इस रिपोर्ट के बाद सरकार ने राष्ट्रीय सुरक्षा को लेकर गंभीर चिंता जताई है।

क्या कहती है रिपोर्ट?

एक मीडिया रिपोर्ट (Mint) के अनुसार, NCSC ने रिलायंस जिओ, एयरटेल और वोडाफोन आइडिया (Vi) जैसी बड़ी टेलीकॉम कंपनियों के अधिकारियों के साथ बैठक की।

इस बैठक में सिम कार्ड आपूर्ति प्रक्रिया की खामियों पर चर्चा हुई और पुराने सिम कार्ड को बदलने की योजना पर विचार किया गया।



कैसे आए चीनी चिप्स भारतीय सिम में?



सामान्यतः टेलीकॉम कंपनियां अपने सिम कार्ड्स के लिए सर्टिफाइड वेंडर्स से चिप्स मंगवाती हैं। ये वेंडर्स चिप्स को वियतनाम या ताइवान जैसे ट्रस्टेड सोर्सेज से आयात करते हैं।

लेकिन जांच में सामने आया कि कुछ वेंडर्स ने इस नियम का दुरुपयोग किया और चीन से चिप्स मंगवाकर उन्हें भारत में असेंबल किया। यह राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए बड़ा खतरा माना जा रहा है।

किन सिम कार्ड्स पर होगा असर?

मार्च 2021 में दूरसंचार विभाग (DoT) ने Unified Access Service License में संशोधन किया था, जिसके तहत टेलीकॉम कंपनियां अविश्वसनीय वेंडर्स से कोई उपकरण नहीं खरीद सकतीं।

ऐसे में 2021 से पहले और उसके आसपास के समय में जारी हुए सिम कार्ड्स सबसे अधिक प्रभावित हो सकते हैं।

सरकार क्या कर रही है?

सरकार इस मुद्दे पर व्यापक समीक्षा कर रही है और जल्द ही कोई बड़ा फैसला ले सकती है। इसके तहत सभी पुराने सिम कार्ड्स को चरणबद्ध तरीके से बदला जा सकता है। इससे पहले भी हुआवेई और ZTE जैसे चीनी उपकरणों पर प्रतिबंध लगाए जा चुके हैं।


अगर आपका सिम कार्ड 2021 से पहले का है, तो संभव है कि आपको जल्द ही नया सिम कार्ड लेना पड़े। सरकार की इस पहल का उद्देश्य देश की डिजिटल सुरक्षा को मजबूत करना है।

इसलिए अगली बार जब टेलीकॉम कंपनी की तरफ से कोई नोटिफिकेशन आए, तो ध्यान जरूर दें।

अगर आपके पास भी पुराना सिम कार्ड है तो हो जाइए सावधान – सरकार कर रही है बड़ी तैयारी!

भारत सरकार जल्द ही देशभर में पुराने सिम कार्ड्स को बदलने का अभियान शुरू कर सकती है।
यह कदम राष्ट्रीय साइबर सुरक्षा के लिहाज से बेहद अहम माना जा रहा है।


सरकार की जांच एजेंसियों ने पाया कि कुछ पुराने सिम कार्ड्स में उपयोग किए गए चिपसेट चीन से मंगवाए गए थे।
इस खुलासे के बाद सरकार अब सभी पुराने सिम कार्ड्स की समीक्षा कर रही है।


पुराने सिम कार्ड्स की वजह से डेटा चोरी, जासूसी और साइबर अटैक का खतरा बढ़ सकता है।Old SIM cards can increase the risk of data theft, espionage and cyber attacks.


भारत में डिजिटल ट्रांजैक्शन और ऑनलाइन सेवाओं के बढ़ते उपयोग को देखते हुए सिम कार्ड्स की सुरक्षा बेहद जरूरी हो गई है।


जांच में सामने आया कि कुछ चिप्स बिना पर्याप्त टेस्टिंग के भारतीय नेटवर्क में शामिल किए गए।
इससे टेलीकॉम नेटवर्क की विश्वसनीयता पर सवाल खड़े हुए हैं।


सरकार की ओर से बनाए गए नए नियमों के तहत अब कोई भी टेलीकॉम उपकरण बिना सर्टिफिकेशन इस्तेमाल नहीं किया जा सकेगा।


पुराने सिम कार्ड्स को बदलने की प्रक्रिया में टेलीकॉम कंपनियों को ग्राहकों से संपर्क करना होगा।


यह प्रक्रिया चरणबद्ध तरीके से लागू की जा सकती है ताकि यूजर्स को असुविधा न हो।
विशेष रूप से 2021 से पहले जारी किए गए सिम कार्ड्स इस बदलाव के दायरे में आ सकते हैं।


सरकार यह सुनिश्चित करना चाहती है कि देश का टेलीकॉम इन्फ्रास्ट्रक्चर पूरी तरह से सुरक्षित हो।
NCSC ने सभी प्रमुख टेलीकॉम कंपनियों से पुराने सिम कार्ड्स का पूरा डेटा मांगा है।


इन सिम कार्ड्स के सोर्सिंग, चिप्स, और निर्माण प्रक्रिया की बारीकी से जांच की जा रही है।


ग्राहकों की पहचान और केवाईसी को भी और अधिक सख्त किया जा सकता है।
डिजिटल इंडिया की दिशा में यह एक बड़ा कदम माना जा रहा है।


इस फैसले से करोड़ों मोबाइल यूजर्स प्रभावित हो सकते हैं।
टेलीकॉम कंपनियां अब सिम कार्ड निर्माण में सिर्फ ट्रस्टेड वेंडर्स का ही उपयोग कर सकेंगी।
सरकार ने यह भी स्पष्ट कर दिया है कि सुरक्षा से कोई समझौता नहीं होगा।


कई यूजर्स को निकट भविष्य में टेलीकॉम स्टोर जाकर नया सिम लेना पड़ सकता है।
इसके लिए कंपनियों द्वारा समय-समय पर सूचनाएं दी जाएंगी।


पुराने सिम कार्ड्स से संबंधित किसी भी संदिग्ध गतिविधि की निगरानी की जा रही है।
नई सिम में उपयोग होने वाले चिप्स को पहले से ही सुरक्षा टेस्ट पास करना अनिवार्य होगा।


इस पूरी प्रक्रिया में सरकार डेटा गोपनीयता और नागरिक अधिकारों का भी ध्यान रखेगी।
रिपोर्ट्स के मुताबिक कुछ चिपसेट में बैकडोर सॉफ़्टवेयर पाया गया जो खतरा पैदा कर सकता था।


साइबर सुरक्षा एक्सपर्ट्स का मानना है कि यह फैसला भारत के डिजिटल भविष्य के लिए बेहद जरूरी है।
अभी तक किसी कंपनी या ब्रांड के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जानकारी नहीं दी गई है।


अगर आपका सिम भी पुराना है, तो अपडेट के लिए अलर्ट रहें और मोबाइल ऑपरेटर से संपर्क बनाए रखें।
इस पूरी प्रक्रिया को सफल बनाने के लिए सरकार, कंपनियां और यूजर्स – सभी की भूमिका अहम होगी।


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