हिंडनबर्ग केस: सारे आरोप निराधार, SEBI ने अदाणी ग्रुप को दी क्लीन चिट

हिंडनबर्ग केस: अदाणी समूह को SEBI से मिली क्लीन चिट, आरोप साबित नहीं हुए
अमेरिकी शॉर्ट सेलिंग कंपनी हिंडनबर्ग द्वारा अदाणी समूह पर लगाए गए आरोप सही साबित नहीं हुए हैं।
भारतीय प्रतिभूति एवं विनिमय बोर्ड (SEBI) ने गुरुवार को हिंडनबर्ग मामले में अदाणी समूह को क्लीन चिट दे दी। SEBI ने अपने अंतिम आदेश में कहा कि हिंडनबर्ग द्वारा लगाए गए आरोपों को साबित करने में कोई सफलता नहीं मिली, और इस वजह से अदाणी समूह पर कोई जुर्माना नहीं लगाया गया।
अदाणी पोर्ट्स एंड स्पेशल इकोनॉमिक ज़ोन लिमिटेड, अदाणी पावर लिमिटेड और अदाणी एंटरप्राइजेज लिमिटेड को किसी भी देनदारी से मुक्त कर दिया गया है।
SEBI की जांच में इनसाइडर ट्रेडिंग के आरोप गलत पाए गए
SEBI ने अपनी जांच में कहा कि हिंडनबर्ग द्वारा लगाए गए अदाणी समूह पर इनसाइडर ट्रेडिंग के आरोप गलत पाए गए हैं। SEBI के 18 सितंबर के आदेश में अदाणी ग्रुप के चेयरमैन गौतम अदाणी, उनके भाई राजेश अदाणी, अदाणी पोर्ट्स, अदाणी पावर और एडिकॉर्प एंटरप्राइजेज को दोषमुक्त कर दिया गया है।
लेन-देन में नहीं मिली कोई गड़बड़ी
SEBI के आदेश में यह भी कहा गया कि संबंधित पक्षों के लेन-देन में कोई गड़बड़ी नहीं पाई गई। इसके बाद, SEBI ने हिंडनबर्ग रिसर्च द्वारा लगाए गए आरोपों पर अदाणी समूह के खिलाफ दायर मामले का निपटारा करते हुए उन्हें क्लीन चिट दे दी।
SEBI ने दो अलग-अलग आदेशों में बताया कि उसने मामले में कोई उल्लंघन नहीं पाया। इसके साथ ही कहा कि 2021 के संशोधन के बाद परिभाषा का विस्तार किया गया था, जिसके कारण असंबंधित पक्षों के साथ किए गए लेन-देन को संबंधित पक्ष सौदे के रूप में नहीं माना जा सकता था।
कर्ज ब्याज सहित चुकाए गए थे, कोई धोखाधड़ी नहीं हुई
SEBI ने यह भी कहा कि कर्ज ब्याज सहित चुकाए गए थे, और कोई धनराशि नहीं निकाली गई थी, इसलिए धोखाधड़ी का कोई सवाल ही नहीं उठता। इस प्रकार, अदाणी समूह के खिलाफ सभी कार्यवाही रद्द कर दी गई है।
हिंडनबर्ग के आरोप
हिंडनबर्ग रिसर्च ने जनवरी 2023 में आरोप लगाया था कि अदाणी समूह ने तीन कंपनियों—एडिकॉर्प एंटरप्राइजेज, माइलस्टोन ट्रेडलिंक्स और रेहवर इन्फ्रास्ट्रक्चर—का इस्तेमाल अपने अन्य कंपनियों के बीच पैसे भेजने के लिए किया।
इसके जरिए अदाणी समूह ने संबंधित पक्ष लेन-देन के नियमों से बचने की कोशिश की और संभवतः निवेशकों को गुमराह किया।
अदाणी समूह ने हिंडनबर्ग के आरोपों को किया खारिज
अदाणी समूह ने हिंडनबर्ग के आरोपों को हमेशा जोरदार तरीके से खारिज किया। उनका कहना था कि हिंडनबर्ग ने सार्वजनिक रूप से उपलब्ध जानकारी का दुर्भावनापूर्ण, शरारती और जोड़-तोड़पूर्ण तरीके से चयन किया था, जिससे व्यक्तिगत मुनाफाखोरी के लिए पूर्व-निर्धारित निष्कर्ष पर पहुंचा जा सके।
SEBI ने हिंडनबर्ग को जारी किया था नोटिस
SEBI ने पिछले वर्ष हिंडनबर्ग रिसर्च, नेट एंडरसन और मॉरीशस स्थित विदेशी पोर्टफोलियो निवेशक मार्क किंगडन की संस्थाओं को अदाणी एंटरप्राइजेज लिमिटेड के शेयरों में ट्रेडिंग नियमों के उल्लंघन के लिए कारण बताओ नोटिस जारी किया था।
हालांकि बाद में शॉर्ट सेलर फर्म के संस्थापक नेट एंडरसन ने हिंडनबर्ग को बंद करने का ऐलान किया था। इसके बाद हिंडनबर्ग ने नई रिपोर्ट निकाली थी।
नियामक ने आरोप लगाया था कि हिंडनबर्ग और एंडरसन ने धोखाधड़ी और अनुचित व्यापार प्रथाओं से संबंधित नियमों का उल्लंघन किया था।